Edited By Subhash Kapoor,Updated: 03 Nov, 2023 07:23 PM
पंजाब विजीलैंस ब्यूरो ने ज़िला लुधियाना और अन्य अनाज मंडियों में हुए धान की फ़सल घोटाले के मामले में शामिल एक अन्य मुलजिम व्यापारी कालू राम निवासी नई आबादी, जैतों मंडी ज़िला फरीदकोट को गिरफ्तार किया है।
लुधियाना (गौतम ) : पंजाब विजीलैंस ब्यूरो ने ज़िला लुधियाना और अन्य अनाज मंडियों में हुए धान की फ़सल घोटाले के मामले में शामिल एक अन्य मुलजिम व्यापारी कालू राम निवासी नई आबादी, जैतों मंडी ज़िला फरीदकोट को गिरफ्तार किया है। उसे लुधियाना जिला अदालत में पेश करने के उपरांत ब्यूरो को दो दिनों का पुलिस रिमांड मिल गया है।
इस सम्बन्धी जानकारी देते विजीलैंस ब्यूरो के प्रवक्ता ने बताया कि उक्त कालू राम के ख़ाद्य और सिविल सप्लाई विभाग पंजाब के निलंबित डिप्टी डायरैक्टर और भगौड़े हो चुके राकेश कुमार सिंगला और उक्त विभाग के पूर्व मंत्री भारत भूषण आशु के साथ नज़दीकी सम्बन्ध थे। मुलजिम कालू राम ने प्रशासनिक और राजनैतिक शह पर जाली बिलों के ज़रिये बिना एम.एस.पी. (न्यूनतम समर्थन मूल्य) से अन्य राज्यों से धान की फसल खरीद कर मुलजिम राइस मिल्लरों कृष्ण लाल और सुरिन्दर कुमार धोतीवाला को मुहैया करवाई थी। इस मुलजिम ने किसानों की तरफ से उनकी दुकानों पर लाए धान की असली उपज की बजाय लुधियाना जिले में अधिक फ़सल दिखाने वाले फर्जी बिल तैयार करने में उक्त मुलजिम कमीशन एजंटों/ आढ़तियों की मदद भी की थी, जिससे राज्य सरकार से इस धान को एमएस.पी. पर बेच कर अधिक लाभ कमाया जा सके।
प्रवक्ता ने बताया कि इस सम्बन्ध में विजीलैंस ब्यूरो के थाना लुधियाना रेंज में पहले ही एफ.आई.आर. दर्ज है। इस मुकद्दमे में शामिल 16 मुलजिमों में से 11 मुलजिम जिनमें पूर्व मंत्री भारत भूषण आशु, तेलू राम, जगरूप सिंह और सन्दीप भाटिया (तीनों ठेकेदार), अनिल जैन, किशन लाल धोतीवाला और सुरिन्दर कुमार धोतीवाला (तीनों आढ़ती), डी.एफ.एस.सी. हरवीन कौर और सुखविन्दर सिंह गिल के अलावा पूर्व मंत्री आशु के दो प्राईवेट सहायकों पंकज उर्फ मीनू मल्होत्रा और इंद्रजीत इन्दी को पहले ही गिरफ़्तार किया जा चुका है। दो अन्य मुलजिमों सुरिन्दर बेरी डी.एफ.एस.सी. (सेवामुक्त) और जगनदीप ढिल्लों डीएम पनसप को हाईकोर्ट की तरफ से आगामी ज़मानत दे दी गई है। जबकि मुलजिम परमजीत चेची की आगामी ज़मानत की अर्ज़ी सुप्रीम कोर्ट की तरफ से ख़ारिज हो चुकी है और उसे विजीलैंस ब्यूरो के आगे आत्मसमर्पण करने के निर्देश दिए हुए हैं। उन्होंने आगे बताया कि इस चर्चित केस में एक अन्य उक्त मुख्य मुलजिम आर.के. सिंगला, डिप्टी डायरैक्टर, ख़ाद्य और सिविल सप्लाई विभाग को अदालत द्वारा पहले ही भगौड़ा करार दिया जा चुका है।