रुमेटॉइड आर्थराइटिस, इंफ्लेमेटरी बाउल डिजीज और क्रॉन्स डिजीज जैसी कई ऑटोइम्यून डिजीज होती हैं, जो बहुत परेशान कर सकती हैं। इंफ्लेमेटरी बाउल डिजीज आंतों का एक डिसऑर्डर है, जिसमें आंत की दीवारों में सूजन और फिर घाव के रूप में अल्सर हो जाते हैं। कई और भी ऑटोइम्यून डिजीज हैं, इनका समय रहते इलाज भी बहुत जरूरी है।
ऑटोइम्यून डिजीज आपकी इम्यूनिटी पावर पर हमला करती हैं, जिससे शरीर इंफेक्शन से बखूबी नहीं लड़ पाता। ऑटोइम्यून डिजीज में दवाओं के साथ एंटी-इंफ्लेमेटरी डाइट भी काफी फायदा करती हैं। एंटी-इंफ्लेमेटरी डाइट में उन फूड्स का सेवन किया जाता है, जो शरीर की अंदरुनी सूजन को कम करते हैं और ऑटोइम्यून रिएक्शन को कंट्रोल करने में मदद करते हैं।
हरी सब्जियां
हरी सब्जियां एंटी-इंफ्लेमेटरी डाइट में शामिल की जा सकती हैं। यह आपकी इम्यूनिटी के लिए बहुत फायदेमंद भी होती है, जैसे कि ब्रोकली, हरी मटर, पालक, सरसों का साग, लौकी और शिमला मिर्च आदि। ये सब्जियां अनेक पोषक तत्वों, विटामिन और एंटीऑक्सीडेंट्स से भरपूर होती हैं और स्वास्थ्य को सुधारती हैं।
चुकंदर
ऑटोइम्यून डिजीज में चुकंदर का सेवन काफी फायदेमंद साबित हो सकता है। चुकंदर में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं। चुकंदर में कुछ महत्वपूर्ण पोषक तत्व होते हैं जैसे कि बीटा-कैरोटीन, बीटाइन और फोलेट, जो इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाने में मदद कर सकते हैं।
मशरूम
मशरूम में हाई प्रोटीन के साथ-साथ कई एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं, जो ऑटोइम्यून डिजीज को कंट्रोल करने में मददगार हो सकते हैं। इसका एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण बीटा-ग्लुकॉन मुख्य है, जो एक प्रकार का फाइबर होता है। यह इंसुलिन सर्कुलेशन को रेगुलेट करने में मदद करता है और सूजन को भी कम करता है।
स्ट्रॉबेरी
कई फलों में भी एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण शामिल होते हैं, जैसे कि स्ट्रॉबेरी। इसका सेवन आपके इम्यून सिस्टम को स्वस्थ रखने में मदद करता है। स्ट्रॉबेरी में विटामिन सी की अच्छी मात्रा मिलती है, जो एक शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट है और सूजन को कम करने में मददगार है।
फैटी फिश
ऑटोइम्यून डिजीज में फैटी फिश का सेवन फायदेमंद होता है। फैटी फिश में गुड फैट होते हैं। एंटी-इंफ्लेमेटरी डाइट में मछलियों का सेवन करने से आपको ओमेगा-3 फैटी एसिड भी मिलेगा, जो शरीर और इम्यून सिस्टम दोनों के लिए बहुत जरूरी है।
डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। यह किसी भी तरह से किसी दवा या इलाज का विकल्प नहीं हो सकता। ज्यादा जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर से संपर्क करें।