लोकसभा में दर्शक दीर्घा से सदन में कूदने वाले दो प्रदर्शनकारी कौन थे, उनके परिवार का क्या कहना है?


संसद में कूदे दो प्रदर्शनकारी

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6 घंटे पहले

इंटेलीजेंस ब्यूरो के अधिकारियों ने संसद की सुरक्षा में सेंध लगाने के मामले में गिरफ़्तार चार लोगों से पूछताछ की है.

इनमें से दो लोग आज (बुधवार) को शून्यकाल के दौरान दर्शकदीर्घा से नीचे कूद गए थे. ये घटना संसद पर साल 2001 में हुए हमले की बरसी के दिन हुई.

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक दर्शक दीर्घा से कूदने वालों के नाम सागर शर्मा और मनोरंजन हैं.

समाचार एजेंसी एएनआई ने एक अधिकारी के हवाले से बताया, “हम उनके बैकग्राउंड के बारे में जानकारी कर रहे हैं. सागर शर्मा मैसूर का रहने वाला है. वो बेंगलुरु की एक यूनिवर्सिटी से इंजीनियरिंग कर रहा है. दूसरा व्यक्ति भी मैसूर से है.”

उन्होंने बताया कि पकड़े गए लोगों की बारे में ज़्यादा जानकारी हासिल करने के लिए आईबी और स्थानीय पुलिस की एक टीम उनके घर पहुंच गई है.

अधिकारी ने बताया, “उनके फ़ोन जब्त कर लिए गए हैं और ये पूछताछ की जा रही है कि क्या वो किसी संगठन से जुड़े हैं. उनके पास से मिले दस्तावेज जब्त कर लिए गए हैं और उनकी जांच की जा रही है.”

अधिकारी ने बताया, “विजटर गैलरी पहुंचने के पहले वो जहां से गुजरे उन सभी चेकप्वाइंट के सीसीटीवी फुटेज की जांच की जा रही है.”

दिल्ली पुलिस ने क्या बताया

मनोरंजन

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दिल्ली पुलिस ने बुधवार को संसद भवन परिसर के बाहर रंगीन धुआँ उड़ाने वाली महिला नीलम और उसके साथी से जुड़ी जानकारी साझा की है.

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक़, दिल्ली पुलिस ने ट्रांसपोर्ट भवन के बाहर दो प्रदर्शकारियों को हिरासत में लिया है जिनमें एक महिला और पुरुष शामिल हैं.

पुलिस ने बताया है कि ये लोग रंग-बिरंगा धुआँ छोड़ने वाली सामग्री के साथ विरोध प्रदर्शन कर रहे थे.

प्रदर्शनकारियों के कई वीडियो भी वायरल हैं. ये वीडियो दिल्ली पुलिस के उन्हें पकड़ने से पहले के हैं. इन वीडियो में वो महिला ‘संविधान बचाओ और तानाशाही ख़त्म’ करो जैसे नारे लगाती दिख रही हैं.

दिल्ली पुलिस ने कहा है कि “शुरुआती जांच में पता चला है कि ये दो लोग नीलम और अमोल संसद भवन परिसर के अंदर मोबाइल फोन नहीं ले जा रहे थे. उनके पास किसी तरह का बैग या पहचानपत्र नहीं था. उनका दावा है कि वे खुद संसद परिसर पहुंचे. लेकिन उन्होंने किसी भी संगठन से जुड़े होने से इनकार किया है.”

पुलिस ने जानकारी दी है कि इस मामले की जांच के लिए एक विशेष जांच दल गठित किया जा रहा है.

मैसुरु में मनोरंजन के पिता ने क्या बताया

मनोरंजन के पिता देवराजू गौड़ा

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दर्शक दीर्घा से लोकसभा के फ्लोर पर कूदने वाले एक शख़्स का नाम मनोरंजन है.

बीबीसी के सहयोगी पत्रकार इमरान क़ुरैशी के मुताबिक़ मनोरंजन के पिता देवराजू गौड़ा ने मैसुरु में अपने बेटे की ‘हरकत’ को ‘कड़ी निंदा’ के लायक बताया है.

देवराजू गौड़ा ने पत्रकारों से बातचीत में बताया कि वे किसान परिवार से आते हैं और उनके बेटे ने इंजीनियरिंग की पढ़ाई की है. उन्होंने कहा कि मनोरंजन हासन ज़िले में स्थित अपने गांव में अपनी ज़मीन पर खेती करता था.

उन्होंने कहा, “पार्लियामेंट हाउस हमारा है. ये संसद भवन है. जो हुआ है, वो कड़ी निंदा के लायक है. आप संसद के बाहर प्रदर्शन कर सकते हैं लेकिन ऐसा नहीं कर सकते.”

देवराजू गौड़ा ने कहा, “हम प्रताप सिम्हा की कंस्टीच्वेंसी (निर्वाचन क्षेत्र) में रहते हैं. मनोरंजन एक अच्छा बेटा है. हमने उसे अच्छी तालीम दी है. हमने उसे संस्कार दिए हैं. उसने आज जो किया है, उसने ऐसा क्यों किया, मैं नहीं जानता.”

“उसने विवेकानंद को खूब पढ़ा है. वो समाज के लिए, वंचितों के लिए सिर्फ़ अच्छा करना चाहता था. आप हमारे पड़ोस में ये बात किसी से भी पूछ सकते हैं. कोई भी उसके बारे में एक भी ख़राब बात नहीं कहेगा.”

इंजीनियरिंग की पढ़ाई करने के बाद मनोरंजन ने किसी के मातहत कहीं काम नहीं किया. वो मुर्गियां, भेड़ें और मछली पालन करते थे.

पिता ने बताया कि वो दिल्ली जाते थे लेकिन कभी ये बताया नहीं कि वहां करते क्या थे.

कर्नाटक पुलिस के एसीपी रैंक के एक अधिकारी उनके घर पर परिवार से बात करने गए थे. उनके पिता ने पत्रकारों को मनोरंजन की किताबें भी दिखलाईं.

संसद के बाहर से गिरफ़्तार नीलम की मां ने क्या कहा?

नीलम

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भारतीय संसद भवन के बाहर बुधवार को रंगीन धुआँ छोड़ने के मामले में गिरफ़्तार नीलम से सुरक्षा एजेंसियां पूछताछ कर रही हैं.

उनका परिवार हरियाणा के जींद में रहता है. नीलम की मां और छोटे भाई ने कहा है कि उन्हें नीलम के दिल्ली जाने के बारे में जानकारी नहीं थी.

नीलम की माँ ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा है कि उनकी बेटी नौकरी न मिलने की वजह से परेशान थी.

नीलम की माँ ने बताया, “वह बेरोजगारी की वजह से काफ़ी परेशान थी. मैंने उससे बात की थी लेकिन उसने मुझे दिल्ली के बारे में कुछ भी नहीं बताया था. वह मुझे बताती थी कि वह इतनी पढ़ी लिखी है लेकिन नौकरी है ही नहीं. तो इससे बेहतर मर जाना है.”

नीलम के छोटे भाई ने बताया है, “हमें बड़े भाई से नीलम के गिरफ़्तार होने की सूचना मिली. उन्होंने हमें फोन करके बोला कि टीवी ऑन करो… नीलम अरेस्ट हो गयी है.”

उन्होंने कहा, “हमें ये भी नहीं पता था कि वह दिल्ली गई है. हमें सिर्फ इतना पता है कि वह अपनी पढ़ाई के लिए हिसार गयी थी. वह परसों घर आई थी और कल वापस लौट गयी. उसने बीए, एमए, बीएड, एमएड, सीटीईटी, एमफिल और नेट क्वालिफाई किया था. उसने बेरोजगारी का मुद्दा कई बार उठाया है. और उसने किसान आंदोलन में भी हिस्सा लिया था.”

अपनी पारिवारिक पृष्ठभूमि के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा, “हम दूध वगैरह का काम करते हैं. और हमारे पिता हलवाई हैं.”

पुलिस की हिरासत में एक प्रदर्शनकारी

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