जबलपुर। शहर के मनमोहन नगर में स्थित पापुलर फूड कंपनी में काम करने वाले एक दर्जन से अधिक मजदूर फूड प्वाइजनिंग का शिकार हो गए। आनन- फानन में बीमार हुए कर्मचारियों को इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया, जहां रास्ते में एक कर्मचारी की मौत हो गई। फैक्ट्री मालिक ने पुलिस को मौत की जानकारी दिए बिना ही उसके शव को उत्तरप्रदेश उसके घर भेज दिया। शनिवार की शाम को जैसे ही गोहलपुर थाना पुलिस को जानकारी मिली तो फूड विभाग की टीम के साथ फैक्ट्री पहुंची और जांच शुरू की।
गोहलपुर थाना के मनमोहन नगर स्थित पापुलर फूड कंपनी में काम करने वाले एक दर्जन से अधिक कर्मचारियों की अचानक तबियत बिगड़ गई। सभी को उल्टी-दस्त की शिकायत थी। फैक्ट्री के मालिक तुलसीदास केसवानी ने बीमारों को सरकारी अस्पताल में इलाज के लिए भिजवाया, जबकि मृतक कर्मचारी शिवम कश्यप के शव को बिना किसी को जानकारी दिए यूपी के लिए रवाना कर दिया।
इस घटना की जानकारी लगते ही मौके पर पहुंची पुलिस, कर्मचारियों से बातचीत कर जानकारी जुटा रही है। वहीं फूड विभाग की टीम ने फैक्ट्री के सैंपल लिए हैं। पापुलर फूड फैक्ट्री तुलसीदास केसवानी और सुमित केसवानी की है, जहां पर ब्रेड, टोस और केक बनाए जाते हैं। पुलिस ने जांच में यह भी पाया कि फैक्ट्री में नाबालिग लड़के भी काम कर रहे थे। फैक्ट्री के मालिक तुलसीदास केसवानी का कहना है कि आज सुबह फैक्ट्री में काम करने वाले कर्मचारियों की तबियत बिगड़ी।
सभी कर्मचारियों को उल्टी-दस्त की शिकायत थी। उन्हें इलाज के लिए मनमोहन नगर अस्पताल ले जाया जा रहा था। रास्ते में शिवम कश्यप की मौत हो गई। फैक्ट्री मालिक का कहना है कि ठेकेदार ने शव को उसके परिवार वालों के पास उत्तरप्रदेश भिजवा दिया है। फैक्ट्री मालिक ने इस पूरे मामले को दबाने की भी कोशिश की और बिना पुलिस-प्रशासन को जानकारी दिए शव को घर भिजवा दिया।
फूड प्वाइजनिंग की जानकारी लगते ही फूड विभाग की टीम के साथ गोहलपुर थाना पुलिस फैक्ट्री पहुंची और जांच शुरू की। टीआई का कहना है कि फैक्ट्री में हुई घटना संदेह के घेरे में है, क्योंकि बिना जानकारी के ही शव को उसके घर उत्तरप्रदेश भिजवाया गया था। टीआई ने बताया कि शव को वापस जबलपुर बुलवाया जा रहा है। रविवार को पोस्टमार्टम करवाया जाएगा और रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई की जाएगी।