AMU: अब्दुल्लाह गर्ल्स कॉलेज सवा सौ से ज्यादा छात्राओं की बिगड़ी तबीयत, जेएन मेडिकल कॉलेज में भर्ती


More than 400 girl students fall ill due to food poisoning

एएमयू
– फोटो : Amar Ujala

विस्तार


अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) के बेगम अजीजुन निसा हॉल में विषाक्त भोजन (फूड प्वाइजनिंग) खाने से 400 से ज्यादा छात्राएं बीमार हो गईं, जिन्हें जेएन मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया। छात्राओं को प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी दे गई। छात्राओं के हंगामे और प्रदर्शन पर यूनिवर्सिटी इंतजामिया ने प्रो. सुबूही खान को हटाकर प्रो. आशिया चौधरी को नया प्रोवोस्ट बनाया है।

एएमयू के संस्थापक सर सैयद अहमद खान की जयंती 17 अक्तूबर को थी। रात में अजीजुन निसा हॉल में छात्राओं की दावत थी। दावत का दौर रात 12 बजे तक चला। रात करीब 1:30 बजे छात्राओं की तबीयत बिगड़ने लगी। आशंका जताई जा रही है कि कबाब, पनीर, चिकन कोरमा में खराब था। इसको खाने के बाद छात्राओं के पेट में दर्द, उल्टी-दस्त की समस्या शुरू हो गई थी। शुरुआत में एक-दो छात्राओं ने हॉल के जिम्मेदार लोगों से जेएन मेडिकल कॉलेज जाने की अनुमति मांगी तो मना कर दिया गया था। इसी बीच छात्राओं की संख्या बढ़ने लगी, तब उन्हें मेडिकल कॉलेज जाने की इजाजत दी गई। यह सिलसिला सुबह 11 बजे तक चलता रहा। कुछ छात्राओं को ड्रिप चढ़ाई गई। छात्राओं के बीमार होने की खबर से एएमयू में हड़कंप मच गया।

बेगम अजीजुन निसा हॉल

बुधवार सुबह छात्राओं ने प्रोवोस्ट प्रो. सुबूही खान को हटाने की मांग को लेकर हंगामा-प्रदर्शन किया। वह करीब छह साल से प्रोवोस्ट थीं। एएमयू इंतजामिया ने प्रो सुबूही खान को प्रोवोस्ट के पद से हटा दिया है। हॉल में करीब 1500 छात्राएं रहती हैं। इनमें ज्यादातर छात्राएं डॉक्टरी की पढ़ाई कर रही हैं।

एफएसडीए की टीम ने एएमयू में लिए आठ नमूने

सर सैयद दिवस पर बेगम अजीजुन निसा हॉल में दावत खाने से छात्राओं को फूड प्वाइजनिंग होने पर बुधवार को खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग (एफएसडीए) की टीम ने खाद्य सामग्री के आठ नमूने लेकर जांच के लिए भेजे हैं।

भरती छात्राएं

विज्ञापन

सहायक खाद्य सुरक्षा अधिकारी-2 सर्वेश मिश्रा ने बताया कि फूड प्वाइजनिंग की सूचना पर टीम ने मौके पर जाकर हल्दी, धनिया, मिर्च पाउडर, चने की दाल, मसूर की दाल, शाही टुकड़ा, मटन बिरयानी, चिकन कोरमा के नमूने लिए गए हैं, जिन्हें जांच के लिए प्रयोगशाला भेजा गया है। इसके बाद ही साफ हो सकेगा कि आखिर किस खाद्य पदार्थ में खराबी की वजह से फूड प्वाइजनिंग हुई है। टीम में एसीएम प्रथम हीरालाल सैनी, मुख्य खाद्य सुरक्षा अधिकारी अक्षय प्रधान, खाद्य सुरक्षा अधिकारी त्रिभुवन नारायण, श्वेता चक्रवती, जवाहर लाल, शिव नाथ, प्रियेश कुमार आदि शामिल थे।

विज्ञापन


Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *