रितिका तिवारी/भोपाल. क्या कभी आपने चूर-चूर नान खाया है? नाम से ही अनुमान लगा सकते हैं कि ये नान आपको चूर-चूर कर के खाने के लिए मिलेगा. इस नान की खासियत इसका कुरकुरा पन है. भोपाल में ये कॉन्सेप्ट खालसा रेस्टोरेंट ले कर आया है. इस नान को बनाने का अंदाज भी काफी अलग है. इसे आप छोले, रायता या अपनी पसंद की किसी भी सब्जी व अचार के साथ खा सकते हैं.
इस नान को बनाने के लिए इसपर ब्रेड क्रम्स मिलाई हुई बटर लगाई जाती है, जिससे इसका कुरकुरा पन बना रहे. इसके बाद इसे तंदूर में डाल कर नान की तरह पकाया जाता है. फिर आता है इसका सबसे महत्वपूर्ण स्टेप, जिसकी वजह से इसका नाम चूर-चूर नान पड़ा है. जी हां, इसे चूर-चूर कर के परोसा जाता है. खाने में तो ये बहुत स्वादिष्ट-कुरकुरी होती है. लोगों को भी यहां की चूर-चूर नान काफी पसंद आती है. मात्र 90 रुपये में आप इस नान का लुत्फ उठा सकते हैं.
इस नान को आप अपने अनुसार स्टफिंग कर भी बनवा सकते हैं. चूर चूर नान की खासियत उसका कुरकुरा पन होता है. इस नान को बनाने के लिए मैदे को पहले नान का आकार देना होता है, फिर उसमे ब्रेड क्रम मिली हुई बटर या फिर देसी घी लगाते हैं. उसके बाद तंदूर में डाल कर इसे पकाया जाता है. पकने के बाद फिर इसमें बटर लगाते हैं. उसके बाद इसे चूर-चूर कर प्लेट में छोले, रायता, अचार, सलाद, चटनी और माखन के साथ परोसा जाता है. यह पूरी थाली मात्र 90 रुपए में मिल जाएगी.
दुकान की लोकेशन
चूर-चूर नान खालसा रेस्टोरेंट में मिल जाएगा. यह शॉप 11 नंबर मार्केट में है. रेस्टोरेंट के मालिक राजवंश सिंह ने बताया कि ये चूर-चूर नान पूरे भोपाल में इनके अलावा कहीं नहीं मिलती. ये इनके रेस्टोरेंट में बेस्ट सेलिंग में से एक है, जिसकी काफी डिमांड रहती है. ये रेस्टोरेंट पंजाबी खाने के लिए भोपाल में काफी प्रसिद्ध है. बता दें कि रेस्टोरेंट सुबह के 11 बजे खुल जाता है और रात के 11 बजे बंद होता है.
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FIRST PUBLISHED : December 15, 2023, 14:29 IST